उपरोक्त तस्वीर एनएचपीसी के तीस्ता लो डैम-III एवं IV परियोजनाओं के अंतरगर्त स्थापित ऑर्किडेरियम (Orchidarium) एवं वनस्‍पतिशाला (Arboretum) में पुन : स्थापित किए गए जंगली ऑर्किडस में से एक ऑर्किड नामत: Ascocentrum ampullaceum (Roxb.) Scltr. की है। यह ऑर्किडेरियम / वनस्‍पतिशाला वन्यजीव/जैव विविधता संरक्षण योजना के अंतर्गत ‘रियांग, दार्जलिंग जिला, पश्चिमी बंगाल’ में दार्जिलिंग वन विभाग एवं नॉर्थ बंगाल विश्व विद्यालय के माध्यम से विकसित किया गया है । इस प्रजाति की मुख्य भूमि एशिया क्रमश: पूर्व में असम, नेपाल और भूटान के मध्य से, उत्तरी हिमालय के पार बर्मा (म्यांमार) से चीन और लाओस तक है। यह प्रजाति दक्षिण में थाईलैंड तक फैली हुई है और अंडमान द्वीप समूह में भी रिपोर्ट की गयी है । इस आर्किड में समृद्ध फूलों की विशेषताएं हैं और यही कारण है कि यह अविचारपूर्वक अंधाधुंध एकत्र किया जाता है। अत: इस खूबसूरत आर्किड के अस्तित्व के लिए, संरक्षण कार्य करना आवश्यक है।